राज्यपाल के अभिभाषण  के दौरान विपक्ष का हंगामा

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अगले पांच साल में दोगुना होगी उत्तराखंड की जीडीपी : राज्यपाल
अंकिता र्मडर केस, पेपर लीक, भर्ती घोटाले, महंगाई व जोशीमठ मुद्दे पर हंगामा
विपक्षी सदस्य सीटों पर उठ खड़े हुए, वेल में नारेबाजी के बाद वाकआउट किया
भराड़ीसैंण। विधानसभा के बजट सत्र में राज्यपाल के अभिभाषण के दौरान विपक्ष ने अंकिता भंडारी हत्याकांड में वीआईपी के नाम का खुलासा न होने, पेपर लीक और भर्ती घोटाले, महंगाई और जोशीमठ आपदा जैसे मुद्दों पर सदन में हंगामा किया। विपक्षी सदस्य अपनी सीटों पर उठ खड़े हुए। उन्होंने वेल में आकर नारेबाजी भी की।
सोमवार पूर्वाह्न 11 बजे सत्र के शुरू होने पर राज्यपाल ले. जन. (सेनि) गुरमीत सिंह ने अभिभाषण शुरू किया। इस दौरान विपक्ष ने हंगामा आरंभ कर दिया। राज्यपाल विपक्षी सदस्यों की नारेबाजी के बीच एक घंटे पांच मिनट तक अभिभाषण पढ़ते रहे  घ््रर्त् सरकार की योजनाएं गिनाते रहे। सत्ता पक्ष के सदस्य अभिभाषण के दौरान बीच-बीच में मेजें थपथपाते रहे। राज्यपाल ने अभिभाषण का अंतिम पैरा पढ़ने से पहले विपक्ष से भी इसे ध्यान से सुनने का आग्रह भी किया। इस दौरान राज्यपाल ने दो बार पानी पिया। अभिभाषण समाप्त होते ही कांग्रेस के सदस्यों ने सदन से वॉकआउट किया। इसके बाद राज्यपाल ने विधानसभा भवन के मुख्य द्वार के सामने विधायकों के साथ फोटो खिंचवाई। कांग्रेस सदस्यों ने फोटो शूट का बहिष्कार किया। अभिभाषण में राज्यपाल ने कहा कि 21वीं शताब्दी के तीसरे दशक को उत्तराखण्ड का दशक बनाने के लिए राज्य स्थापना के 25 वर्ष पूर्ण होने तक पूंजीगत व्यय में वृद्धि दर के साथ आगामी पांच वर्षो में जीडीपी को दोगुना किया जाएगा। सरकार महिलाओं को बराबर का हक दिलाने के लिए दृढसंकल्प है। इसके लिए राज्य की महिलाओं को राजकीय सेवाओं में पर्याप्त प्रतिनिधित्व देने के उद्देश्य से उत्तराखण्ड लोक सेवा (महिलाओं के लिए क्षैतिज आरक्षण) अधिनियम 2022 लागू किया गया। सिस्टम में पारदर्शिता लाने लिए सरकार ने राज्याधीन सेवाओं के पदों पर भर्ती परीक्षाओं में कदाचार एवं प्रकटन पर प्रभावी अंकुश लगाने एवं अनुचित साधनों की रोकथाम के लिए एक विशेष कानून लाई है। राज्यपाल ने तमाम दूसरे विभागों में संचालित हो रही योजनाओं को भी विस्तार से अपने अभिभाषण में गिनाया।
राज्य योजना आयोग बनेगा नीति स्टेट इंस्टीट्यूट
फॉर एम्पावरिंग एण्ड ट्रांसफार्मिग उत्तराखंड
राज्यपाल ने कहा कि नियोजन विभाग द्वारा राज्य योजना आयोग को नीति आयोग की तर्ज पर उत्तराखण्ड में स्टेट इंस्टीट्यूट फार एम्पावरिंग एण्ड ट्रांसफार्मिग उत्तराखण्ड का स्वरूप प्रदान किया जा रहा है। राज्य की आर्थिकी के उन्नयन एवं विकास में त्वरित गति के लिए उत्तराखण्ड अवस्थापना निवेश विकास बोर्ड (यूआईडीपी) का गठन किया जा रहा है।
वर्ष 2025 तक उत्तराखण्ड को देश का अग्रणी राज्य बनाने के लिए सशक्त उत्तराखंड एट द रेट 25 पर कार्य किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि उत्तराखण्ड की प्रति व्यक्ति आय 2,05,840 रुपये है। यह अखिल भारतीय स्तर पर प्रचलित प्रति व्यक्ति आय 1,50,007 की तुलना में 37 फीसद अधिक है। राज्यपाल ने कहा कि कि नीति आयोग द्वारा जून 2022 में जारी किया गया इंडिया इनोवेशन इंडेक्स 2021 में उत्तराखण्ड को नवाचार के मामलों में पूर्वोत्तर और हिमालयी राज्यों में दूसरे स्थान पर और पूरे देश में 5वें स्थान पर रखा गया है।
पुराने, कालातीत एवं अप्रासंगिक कानूनों को रद्द करने
तथा उन्हें युक्तिसंगत बनाने का कार्य किया जा रहा
राज्यपाल ने कहा कि पुराने, कालातीत एवं अप्रासंगिक कानूनों को रद्द करने तथा उन्हें युक्तिसंगत बनाने का कार्य किया जा रहा है। सरकार हर योजना का ऑनलाइन अनुश्रवण करने की दिशा में काम कर रही है। इसके लिए पीएम गति शक्ति पोर्टल तैयार किया जा रहा है। जिलाधिकारियों द्वारा जिलों में किए जा रहे नवाचारों को सम्पूर्ण प्रदेश में लागू करने पर कार्य किया जा रहा है। सुधार कार्यक्रमों के तहत हरियाणा सरकार की तर्ज पर परिवार पहचान पत्र तैयार किया जा रहा है।
कार्यक्रम क्रियान्वयन विभाग द्वारा राज्य सरकार जनता के द्वार, हमारा संकल्प भयमुक्त समाज, हमारा संकल्प अनुशासित प्रदेश जैसे कार्यक्रमों को जनमानस तक पहुंचाने एवं उनकी समस्याओं का सरलीकरण, समाधान, निस्तारण, अनुश्रवण तथा प्रभावी क्रियान्वयन किए जाने के उद्देश्य से मंडलायुक्तों, जिलाधिकारियों एवं मंडल जिले के समस्त अधिकारियों के अतिरिक्त  जनपद के प्रभारी मंत्रियों प्रभारी सचिवों एवं शासन के विशेष कार्याधिकारियों को भी विभागीय बैठकों, ग्राम चौपालों एवं रात्रि प्रवासों के माध्यम से कार्यक्रमों योजनाओं के सफल क्रियान्वयन की नई पहल की गई है।
जीएसटी में बीते साल से 34 फीसद वृद्धि : राज्यपाल ने कहा कि प्रदेश में वित्तीय अनुशासन को बनाने के लिए राज्य कर विभाग द्वारा खरीद पर बिल प्राप्त किए जाने की प्रवृत्ति को प्रोत्साहित किए जाने के उद्देश्य से विभाग द्वारा बिल लाओ इनाम पाओ’ योजना लागू की गई है। जीएसटी के अंतर्गत वित्तीय वर्ष 2021-22 में कुल 5973.48 करोड़ का राजस्व प्राप्त हुआ। यह गत वर्ष के सापेक्ष 34 फीसद अधिक है।

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