एनएचएम के तहत मिली धनराशि को शत-प्रतिशत करें खर्च : डा. धन सिंह रावत

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स्वास्थ्य मंत्री ने विभागीय अधिकारियों को दिए निर्देश
देहरादून। स्वास्थ्य मंत्री डा. धन सिंह रावत ने राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन के अंतर्गत वर्तमान वित्तीय वर्ष में केंद्र सरकार द्वारा उपलब्ध कराई गई धनराशि को समय पर शत-प्रतिशत खर्च करने के निर्देश विभागीय अधिकारियों को दिये हैं। उन्होंने विभिन्न चिकित्सा इकाईयों में चल रहे निर्माण कायरें की धीमी प्रगति पर नाराजगी जताते हुये अधिकारियों को निर्माणाधीन कायरे में तेजी लाने के निर्देश दिये। एनएचएम के अंतर्गत कार्यरत कार्मिकों को विगत तीन माह से वेतन न मिलने पर उन्होंने विभागीय अधिकारियों को जमकर फटकार लगाते हुये शीघ्र वेतन निर्गत करने को कहा।
स्वास्थ्य मंत्री ने बुधवार को स्वास्थ्य महानिदेशालय में आयोजित उच्च स्तरीय समीक्षा बैठक में विभागीय अधिकारियों को सख्त निर्देश दिये। कहा कि एनएचएम के तहत मिली धनराशि को शत-प्रतिशत खर्च किया जाए। कहा कि प्रदेश एनएचएम के अंतर्गत हुए बेहतर कायरे के आधार पर भारत सरकार द्वारा इस वित्तीय वर्ष में 1129.5 करोड़ का का बजट उपलब्ध कराया गया है जो कि जो कि पिछले वित्तीय वर्ष में मिले बजट के मुकाबले 280 करोड़ अधिक है। जिसे तय समय के भीतर शत-प्रतिशत खर्च करने का लक्ष्य निर्धारित कर दिया गया ह,ै ताकि स्वास्थ्य व्यवस्थाओं को और अधिक मजबूत किया जा सके।
विभिन्न चिकित्सा इकाईयों में चल रहे निर्माण कायरें की धीमी प्रगति पर मंत्री ने नाराजगी जताई। उन्होंने अधिकारियों से दो टूक कहा कि निर्माणाधीन कायरे में तेजी लाकर सभी निर्माण कायरे को निर्धारित समय सीमा के भीतर पूरा करें। डा. रावत ने बताया कि ईआरसीपी के अंतर्गत आठ चिकित्सा इकाईयों में प्रीफैब्रिकेटेड 42 बेड और 10 चिकित्सा इकाईयों में 32 बेड का निर्माण किया जायेगा, जिसके लिये शासन ने रूपये 5073.12 लाख की धनराशि स्वीकृत कर दी है। इसके अलावा इस वित्तीय वर्ष में सात  क्रिटिकल केयर यूनिट (सीसीयू) की स्थापना की जायेगी, जिसके लिये कार्यदायी संस्था नामित कर दी गई है। निर्माण कार्य जल्द शुरू कर दिया जायेगा।
एनएचएम कार्मिकों को समय पर वेतन निर्गत करने के लिए उन्होंने एनएचएम के मिशन निदेशक डा. आर राजेश कुमार को व्यवस्थाएं ठीक करने के निर्देश दिये। कहा कि एनएचएम के अंतर्गत कार्यरत कार्मिक अल्प वेतनभोगी हैं और उनका कई महीनों तक बिना किसी कारण वेतन रोकना न्यायोचित नहीं है। बैठक में प्रभारी स्वास्थ्य सचिव व एनएचएम के मिशन निदेशक डा. आर राजेश कुमार, स्वास्थ्य महानिदेशक डा. शैलजा भट्ट, संयुक्त निदेशक डा. आरपी खंडूड़ी, वित्त अधिकारी दीपाली भरणो, वित्त नियंत्रक खजान चंद्र पांडेय आदि अधिकारी मौजूद रहे।

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